खेती की जमीन में शादीशुदा बेटी का हक होता है या नहीं, जानिए सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसला Supreme Court

By Meera Sharma

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Supreme Court: उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जिले के मुबारकपुर क्षेत्र के बम्हौर गांव में 3 जून को घटित एक दुर्भाग्यपूर्ण घटना ने पूरे क्षेत्र में तनाव का माहौल बना दिया है। इस दिन गांव के राकेश कन्नौजिया के विवाह समारोह के दौरान एक गंभीर घटना घटी जिसने स्थानीय शांति को भंग कर दिया। शादी की तैयारियों के दौरान जब परिवार की महिलाएं और लड़कियां परंपरागत रस्म के लिए पोखरे पर जा रही थीं, तभी कुछ युवकों ने उनके साथ अभद्रता की।

इस घटना में लगभग 20 लोग घायल हो गए थे। आरोप है कि कुछ युवकों ने महिलाओं की वीडियो बनाना शुरू किया और उनके साथ छेड़खानी करते हुए अपमानजनक टिप्पणियां कीं। जब परिवारजनों ने इसका विरोध किया तो स्थिति और भी गंभीर हो गई और मारपीट शुरू हो गई। यह घटना न केवल एक परिवार की खुशी में बाधक बनी बल्कि पूरे समुदाय के लिए चिंता का विषय बन गई। घटना की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए मामला दर्ज किया।

परिवारों की सुरक्षा चिंताएं

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घटना के बाद गांव के लगभग 40 हिंदू परिवारों ने अपनी सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता व्यक्त की है। इन परिवारों का आरोप है कि घटना के बाद से उन्हें लगातार धमकियां दी जा रही हैं। स्थिति की गंभीरता को दर्शाते हुए इन परिवारों ने अपने घरों के दरवाजों पर ‘हिंदू परिवार, हमारा घर बिकाऊ है’ के पोस्टर लगा दिए हैं। यह कदम उनकी हताशा और असुरक्षा की भावना को दर्शाता है।

गांव के राकेश कन्नौजिया, बहादुर कन्नौजिया, बृजेश गोंड और रामअवध जैसे कई परिवारों ने खुलकर कहा है कि वे अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं। उनका कहना है कि यदि उचित सुरक्षा व्यवस्था नहीं की गई तो वे अपना गांव छोड़ने को मजबूर हो जाएंगे। यह स्थिति न केवल इन परिवारों के लिए दुखदायी है बल्कि पूरे क्षेत्र की सामाजिक एकता के लिए भी हानिकारक है। घरों पर लगे ये पोस्टर इस बात का प्रमाण हैं कि परिस्थिति कितनी गंभीर हो गई है।

पुलिस प्रशासन की कार्रवाई

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स्थानीय पुलिस प्रशासन ने इस मामले में तत्परता दिखाते हुए कई गिरफ्तारियां की हैं। पुलिस ने अब तक अरमान, वसीम, मोहम्मद मोअज्जम, रहमान और एक नाबालिग सहित कुल छह लोगों को गिरफ्तार किया है। मुबारकपुर थानाध्यक्ष निहार नंदन ने बताया कि घटना के संबंध में दोनों पक्षों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। पुलिस ने संदीप कन्नौजिया की तहरीर के आधार पर मामला दर्ज करके जांच शुरू की है।

उप निरीक्षक गिरीश कुमार की टीम ने सक्रिय भूमिका निभाते हुए आरोपी रहमान को उसके घर से गिरफ्तार किया है। पुलिस के अनुसार घटना में शामिल मुख्य आरोपियों में अबु जैद, रहमान, वकाश, वसीम, आलिम, जुबैद, वकार, एहतेशाम, अरबाज, अरमान, भुल्लन, आले हसन, सैफु, नदीम अरमान आदि शामिल हैं। गांव में तनाव को देखते हुए पुलिस फोर्स तैनात की गई है ताकि कानून व्यवस्था बनी रहे।

एसएसपी का चुनावी राजनीति का आरोप

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एसएसपी हेमराज मीना ने इस पूरे मामले को एक अलग नजरिए से देखा है। उनका कहना है कि ‘मकान बिकाऊ है’ के पोस्टर लगाना एक चुनावी स्टंट है जो आगामी प्रधानी चुनाव के मद्देनजर किया गया है। एसएसपी के अनुसार यह काम गांव के एक ऐसे युवक ने कराया है जो पिछले पंचायत चुनाव में जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा था लेकिन हार गया था। अब वह फिर से पंचायत चुनाव की तैयारी में ऐसी गतिविधियां करवा रहा है।

एसएसपी का यह भी कहना है कि यह व्यक्ति 3 जून की मारपीट की घटना में भी शामिल था। पुलिस प्रशासन का मानना है कि इस तरह की गतिविधियों के पीछे राजनीतिक मकसद हो सकते हैं। हालांकि एसएसपी ने आश्वासन दिया है कि किसी को भी कानून व्यवस्था और शांति से खिलवाड़ नहीं करने दिया जाएगा। उन्होंने कहा है कि आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और जांच के बाद दोषियों को नहीं बख्शा जाएगा।

बम्हौर गांव का विवादास्पद इतिहास

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बम्हौर गांव का नाम पहले भी विवादास्पद कारणों से सुर्खियों में आ चुका है। यह गांव देसी तमंचा बनाने के लिए कुख्यात रहा है। “मेड इन बम्हौर” लिखे तमंचे देखकर मुंबई पुलिस तक हैरान रह गई थी। इस गांव में बने हथियारों का इस्तेमाल कई गंभीर अपराधों में हुआ है। सबसे चर्चित मामला प्रसिद्ध फिल्म निर्माता गुलशन कुमार की हत्या में इन तमंचों के इस्तेमाल का था।

इस घटना के बाद जांच एजेंसियों की रिपोर्ट से यह गांव राष्ट्रीय चर्चा में आया था। हाल की घटना के बाद यह गांव एक बार फिर से नकारात्मक कारणों से सुर्खियों में है। यह स्थिति दुखदायी है क्योंकि किसी भी गांव या क्षेत्र की पहचान अपराध और हिंसा से नहीं होनी चाहिए। स्थानीय प्रशासन को इस क्षेत्र के समग्र विकास और शांति स्थापना पर विशेष ध्यान देना चाहिए ताकि ऐसी घटनाएं भविष्य में न हों।

शांति स्थापना की दिशा में प्रयास

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वर्तमान में पुलिस प्रशासन गांव में शांति बहाली के लिए निरंतर प्रयास कर रहा है। एसएसपी हेमराज मीना ने आश्वासन दिया है कि गांव में पूरी तरह से शांति है और सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर पुलिस फोर्स तैनात रखी गई है। स्थानीय पुलिस पूरे मामले पर कड़ी नजर रखे हुए है। गांव में तनाव कम करने के लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं।

इस घटना से यह सबक मिलता है कि सामुदायिक सद्भावना और आपसी सम्मान कितना महत्वपूर्ण है। किसी भी समुदाय की महिलाओं और बच्चियों के साथ अभद्रता बर्दाश्त नहीं की जा सकती। समाज के सभी वर्गों को मिलकर ऐसी घटनाओं की रोकथाम के लिए काम करना चाहिए। केवल कानून व्यवस्था ही नहीं बल्कि सामाजिक जागरूकता और शिक्षा भी इन समस्याओं का समाधान है। आशा है कि भविष्य में ऐसी घटनाएं नहीं होंगी और गांव में फिर से शांति और सद्भावना का माहौल बनेगा।

Disclaimer

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यह लेख सामान्य जानकारी के उद्देश्य से तैयार किया गया है। घटनाओं का विवरण उपलब्ध जानकारी के आधार पर दिया गया है। किसी भी कानूनी या सुरक्षा संबंधी मामले में स्थानीय प्राधिकारियों से संपर्क करें।

Meera Sharma

Meera Sharma is a talented writer and editor at a top news portal, shining with her concise takes on government schemes, news, tech, and automobiles. Her engaging style and sharp insights make her a beloved voice in journalism.

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